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ऋण माफी योजना

हरियाणा में ऋण माफी योजना की घोषणा, जानिये किन किसानों को मिलेगी 100% छूट

हरियाणा में ऋण माफी योजना की घोषणा, जानिये किन किसानों को मिलेगी 100% छूट

कुल 17,863 मृतक कर्जदार कुल 445.29 करोड़ रुपए बकाया एकमुश्त निपटान योजना में मिलेगा लाभ

हरियाणा राज्य सरकार ने कृ़षकों के हित में एकमुश्त निपटान योजना की घोषणा की है। इस सरकारी स्कीम में किसानों को ब्याज में छूट प्रदान की जाएगी, साथ ही अन्य कृषि खर्चों को भी माफ किया जाएगा। सरकार के द्वारा कृषक एवं किसानी के हित में की गई कर्जमाफी की घोषणा से हरियाणा राज्य के किसानों को व्यापक रूप से लाभ मिलेगा। इस स्कीम से किसानों के एक बड़े वर्ग को राहत मिलने की संभावना है। भारत के कई राज्यों में कर्जमाफी योजना के तहत कृषकों को कर्ज के बोझ से राहत प्रदान की गई है। हरियाणा राज्य सरकार के द्वारा प्रदेश के किसानों के कर्ज माफी प्लान के तहत किसानों को ब्याज में 100 प्रतिशत तक छूट दिए जाने का निर्णय प्रदेश सरकार ने लिया है।

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एकमुश्त निपटान योजना

हरियाणा राज्य सरकार ने इस वर्ष 5 अगस्त को किसान हितैषी एकमुश्त निपटान योजना की घोषणा की थी। इस योजना में किसानों को ब्याज में छूट प्रदान करने के साथ ही अन्य कृषि खर्चों को भी माफ करने का सरकार का प्लान है।

योजना का उद्देश्य

कर्ज के बोझ के कारण किसान आत्मघाती कदम उठाने से बचें एवं अपने किसानी अनुभव से प्रदेश कृषि आय वृद्धि में सहयोग प्रदान करें, कर्ज की चिंता के बजाए किसान अगली फसल की पैदावार पर ध्यान केंद्रित कर सकें, साथ ही कर्ज चुकाने के लिए भी प्रेरित हों इस मकसद से हरियाणा प्रदेश सरकार ने एकमुश्त निपटान योजना के तहत फसल कर्ज ब्याज राशि माफ करने का अहम निर्णय लिया है।

किनको मिलेगा लाभ

हरियाणा सरकार की कर्ज माफी की योजना (karj mafi yojana) का ऐलान एकमुश्त निपटान योजना के तहत किया गया है। एकमुश्त निपटान येाजना का लाभ हरियाणा राज्य के कर्जदार किसानों या जिला कृषि और भूमि विकास बैंक के सदस्यों को प्रदान किया जाएगा।

सहकारी मंत्री ने दी जानकारी

हरियाणा प्रदेश सरकार के सहकारिता मंत्री डॉ. बनवारी लाल ने इस किसान हितैषी योजना के बारे में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि, कर्ज लेने वाले किसानों को घोषित योजना के तहत बकाया ब्याज पर 100 प्रतिशत तक की छूट दी जाएगी। उन्होंने बताया कि, कर्जदार किसान का निधन होने की स्थिति में किसान के वारिसों को छूट का लाभ मूलधन जमा करने पर प्रदान किया जाएगा।

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सहकारिता मंत्री डॉ. बनवारी लाल के मुताबिक मृतक कर्जदार किसान के उत्तराधिकारी को पूरी मूलधन राशि ऋण खाते में जमा करने पर प्रदेश सरकार द्वारा अतिदेय ब्याज में सौ फीसदी छूट प्रदान की जाएगी।

लाभ और भी

कर्ज पर ब्याज में छूट के लाभ के अलावा जुर्माना ब्याज एवं अन्य खर्चों को भी माफ करने का सरकार ने फैसला किया है। इस निर्णय के तहत योजना में शामिल कर्जदार किसानों के मृत हो जाने पर उत्तराधिकारियों को एकमुश्त भुगतान पर 31 मार्च 2022 तक का संपूर्ण सरचार्ज, जुर्माना ब्याज व अन्य खर्च प्रदेश सरकार द्वारा माफ कर दिया जाएगा। बाकी अन्य सभी कर्जदार कृषकों को भी कर्ज माफी का लाभ मिल सकेगा। अन्य किसानों का 50 फीसदी ब्याज माफ करने के साथ ही जुर्माना ब्याज व अन्य खर्च भी हरियाणा प्रदेश सरकार द्वारा माफ किए जाएंगे।

मृतक कर्जदार बकाया राशि

मंत्री डॉ. लाल ने योजना में हरियाणा राज्य में बैंक से ऋण लेने वाले मृत कर्जदारों की स्थिति भी स्पष्ट की। उन्होंने बताया कि प्रदेश मेें मृतक कर्जदारों की कुल संख्या 17,863 है। इस श्रेणी के कर्जदारों पर कुल 445.29 करोड़ रुपए की राशि बकाया है। इस बकाया राशि में 174.38 करोड़ रुपए की मूल राशि एवं 241.45 करोड़ रुपए का ब्याज और 29.46 करोड़ रुपए की दंडात्मक ब्याज राशि शामिल है।

ऋण माफी योजना से संबद्ध बैंक

डॉ. बनवारी लाल ने बताया कि, कर्ज माफी संबंधी यह योजना कृषि एवं भूमि विकास बैंक तथा जिला प्राथमिक सहकारी कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंकों में लागू होगी। इन बैंकों से जुड़े ऋण लेने वाले किसानों और सदस्यों को कर्ज माफी योजना का लाभ प्रदान किया जाएगा। आपको बता दें, हरियाणा राज्य में 19 जिला प्राथमिक सहकारी कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंकों के कुल 73 हजार 638 कर्जदारों पर 2070 करोड़ रुपए बकाया हैं। इसमें बकाया राशि में मूलधन 845 करोड़ रुपए, ब्याज 1112 करोड़ रुपए तथा 113 करोड़ रुपए की जुर्माना ब्याज राशि शामिल है।

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सभी ऋण समाहित

डॉ. लाल ने बताया कि, ऋण ब्याज माफी योजना सभी प्रकार के ऋण पर लागू की जाएगी। ऋण के भुगतान से वंचित एवं 31 मार्च 2022 तक बैंक द्वारा डिफाल्टर घोषित ऋण धारक भी इस ऋण ब्याज माफी योजना का लाभ ले सकता है।

योजना सीमित समय के लिए

हरियाणा के सहकारिता मंत्री के अनुसार प्रदेश में कर्ज माफी की योजना को सीमित समय के लिए लागू किया गया है। इस कारण पहले आने वाले किसान को पहले लाभ मिलेगा।

यहां मिलेगी जानकारी

योजना के बारे में किसान जिला प्राथमिक सहकारी कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक एवं इनकी तहसील स्तर की शाखाओं से संपर्क कर अधिक जानकारी प्राप्त की जा सकती है।

अनिवार्य दस्तावेज

एकमुश्त निपटान योजना के तहत कर्ज ब्याज छूट का लाभ प्राप्त करने के लिए आवेदक को कुछ दस्तावेजों को प्रस्तुत करना होगा। आधार कार्ड, ऋण से संबंधित कागजात, आवेदक का निवास प्रमाण-पत्र, आवेदक आय प्रमाण-पत्र, मृतक किसान की स्थिति में मृत्यु प्रमाण-पत्र, आवेदक का बैंक खाता विवरण, पासपोर्ट साइज फोटो, आधार संख्या से संबद्ध मोबाइल नंबर आदि के बारे में आवेदक को फार्म के साथ जानकारी प्रदान करना होगी।

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सभी ऋण शामिल

कर्ज माफी योजना में सभी प्रकार के ऋणों को शामिल किया गया है। इसमें अल्पकालीन और दीर्घकालीन प्रकृति के ऋण लेने वाले किसान योजना का लाभ प्राप्त कर सकते हैं। चूंकि योजना हरियाणा सरकार ने सीमित समय के लिए लागू की है, अतः कर्ज ब्याज माफी का लाभ लेने किसानों को भी शीघ्रता दिखानी होगी।
डिफॉल्टर किसान दोबारा ले सकेंगे लोन, बस इन नियमों का रखना होगा ध्यान

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सहकारी और राष्ट्रीकृत बैंकों का लाखों करोड़ों किसानों पर कर्ज बकाया है. अगर किसान समय पर अपना लोन नहीं चुका पाते, तो उन्हें डिफॉल्टर घोषित कर दिया जाता है. जिसके बाद किसानों के कर्ज लेने के सारे रस्ते बंद हो जाते हैं. हालांकि लोन लेने के अपने कुछ क़ानूनी नियम होते हैं. लेकिन ऐसा कई बार होता हैं जहां फसलों की बर्बादी या फिर मौसम की मार की वजह से किसान अपना लोन नहीं चुका पाते. लों की किस्ते चुकाने के लिए बैंक की तरफ से भी कई फोन किये जाते हैं. लेकिन देरी की वजह से कई तरह तरह की पेनाल्टी लग जाती है और लोन की रकम पहले से कहीं ज्यादा बढ़ जाती है. एल तो पहले का लोन उसके ऊपर से उसमें लगी पेनाल्टी किसानों पर डबल बोझ डाल देती है. जिसे चुकाना आसान नहीं होता. ऐसा कई बार होता है कि, जमानत के तौर पर किसानों को अपनी जमीन तक बेचनी पड़ जाती है. खेती किसानी में पैसों की जरूरत होती है, इसलिए जो किसान डिफॉल्टर घोषित कर दिए जाते हैं, वो किसी बैंक से लोन ले सकते हैं.

डिफॉल्टर किसानों के बारे में

किसान जब पुराने लोन की किस्ते या फिर ईएमआई (EMI) का सही समय पर भुगतान नहीं कर पाते तो बैंक उन्हें डिफॉल्टर घोषित कर देती है. इस वजह किसानों को दोबारा लोन लेने में काफी समस्या होती है. क्योंकि बैंक चाहे कोई भी हो, बैंक लोन देने से पहले रिकॉर्ड जरूर चेक कर लेती है. ऐसे में लोन वसूलने के लिए बैंक और एजेंट्स लगातार संपर्क करते हैं. अपनी क्रेडिबिलिटी को दिखाने केलिए किसान लेट फीस के साथ लोन की रकम जमा करके अपना क्रेडिट स्टेट्स सुधार सकते हैं. ये भी देखें:
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डिफॉल्टर किसानों को दोबारा मिल सकता है लोन

लोन देने के लिए सिबिल स्कोर या क्रेडिट स्टेटस को जांचा जाता है. अगर किसान ने पुराना लोन भले ही देर से चुका दिया जाए, तो दोबारा लोन मिल सकता है. लोन के लिए 750 सिबिल स्कोर होने जरूरी है. इसके अलावा देश में कई वित्तीय संस्थान 300 से ज्यादा सिबिल स्कोर वाले आवेदकों को लोन दे देते हैं. लेकिन उनकी ब्याज ड्रोन की बात करें, तो वो काफी ज्यादा होती है.

सिबिल स्कोर सुधारने के लिए करें ये काम

अगर आप डिफॉल्टर किसान घोषित नहीं होना चाहते हैं, तो अपना सिबिल स्कोर सुधारने की कोशिश करें. इसके लिए आपने जिस भी बैंक से लोन लिया है, उसकी बजाय किस्त समय पर चुका दें. किसान की जितनी आय हो उस हिसाब से लोन पास करवाना चाहिए. ताकि उसे आसानी से चुकाया जा सके. ये भी देखें: अगर बरसात के कारण फसल हो गई है चौपट, तो ऐसे करें अपना बीमा क्लेम

लोन के लिए शर्तें भी

डिफॉल्टर किसानों के लिए प्राइवेट बैंक और कंपनी ने लोन के लिए रास्ता साफ़ कर दिया है. लेकिन इसकी शर्त यही है कि, किसान को जमानत या कोई गारंटी देनी होगी. देश में कई ऐसे राज्य हैं, जहां की सरकारें कर्जमाफी और ब्याज पर माफ़ी की योजनाएं ला चुकी हैं. इतना ही नहीं लोन पर बीज, खाद, मशीन खरीदने और उर्वरक पर सहूलियत दी जाती है.